उल्फ़त में रस्म-ए-वस्ल आख़िरी, तुम अपनी अदा कर जाओ,
दो आँसू दे के मेरी लाश को, मेरे जनाज़े को ग़मज़दा कर जाओ !
Ulfat mein rasm-e-vasl aakhiri, tum apni ada kar jaao,
Do aansoo de ke meri laash ko, mere janaze ko gumzada kar jaao !
- उल्फ़त - प्यार, प्रेम, इश्क़, प्रीति, याराना, दोस्ती, मित्रता
- रस्म-ए-वस्ल - मिलन की रस्म, मिलाप का रिवाज़
- अदा - चुकता, देना, पूरा, चुकाना, लौटाना
- ग़मज़दा - शोकग्रस्त, मातमदार, दु:खित, रंजीदा, संतप्त
- Article By. Dharm_Singh
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