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Humsafar shayari...

Humsafar_shayari


हयात हमारी भी चैन से बसर हो जाती...,
मुक़म्मल जो हमसफ़र की कसर हो जाती !

Hayat humari bhi chain se basar ho jati...,
Mukammal jo humsafar ki kasar ho jati !



  • हयात - ज़िन्दगी, जीवन, जीवन-काल, रूह, आत्मा, जान
  • बसर - जीवन निर्वाह, गुज़ारा, जीवन-यापन, निबाहना, व्यतीत करना
  • मुक़म्मल - पूर्ण, संपूर्ण, समाप्त, पूरा किया हुआ
  • हमसफ़र - एक साथ जीवन गुज़ारने वाला, एक साथ यात्रा करने वाला
  • कसर - कमी, न्यूनता, कोताही, अभाव

  • Article By. Dharm_Singh

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